टिप्पणी: सभी समय १२-घण्टा प्रारूप में Fairfield, संयुक्त राज्य अमेरिका के स्थानीय समय और डी.एस.टी समायोजित (यदि मान्य है) के साथ दर्शाये गए हैं।
आधी रात के बाद के समय जो आगामि दिन के समय को दर्शाते हैं, आगामि दिन से प्रत्यय कर दर्शाये गए हैं। पञ्चाङ्ग में दिन सूर्योदय से शुरू होता है और पूर्व दिन सूर्योदय के साथ ही समाप्त हो जाता है।
जुलाई 16, 17, 2019 को आंशिक चन्द्र ग्रहण दर्शनीय होगा। वर्ष 2019 में यह दूसरा चन्द्र ग्रहण होगा। यह 0.65 परिमाण का आंशिक ग्रहण है, इसलिए अधिकतम ग्रहण के दौरान चन्द्रमाँ का लगभग आधा भाग पृथ्वी की उपच्छाया से छिप जायेगा। उपच्छाया के अन्दर चन्द्रमाँ का हिस्सा केवल पृथ्वी के वायुमण्डल के माध्यम से अपवर्तित सूर्य के प्रकाश से प्रकाशित होगा।
यह चन्द्र ग्रहण अटलांटिक महासागर, अंटार्कटिका, हिन्द महासागर, प्रशान्त महासागर, अफ्रीका, ऑस्ट्रेलिया, दक्षिण अमेरिका, एशिया और यूरोप के अधिकांश देश और उत्तरी अमेरिका के कुछ पूर्वी हिस्सों से दिखाई देगा।
आंशिक चन्द्र ग्रहण भारत, पाकिस्तान, नेपाल, मॉरीशस और सिंगापुर से दिखाई देगा।
अधिकांश उत्तरी अमेरिका और ग्रीनलैंड से कोई भी ग्रहण दिखाई नहीं देगा।
ग्रहण की दृश्यता के बारे में अधिक जानकारी के लिए कृपया 16, 17 जुलाई 2019 के आंशिक चन्द्र ग्रहण का प्लॉट देखें।
जब चन्द्र ग्रहण मध्यरात्रि (१२ बजे) से पहले लग जाता है परन्तु मध्यरात्रि के पश्चात समाप्त होता है - दूसरे शब्दों में जब चन्द्र ग्रहण अंग्रेजी कैलेण्डर में दो दिनों का अधिव्यापन (ओवरलैप) करता है - तो जिस दिन चन्द्रग्रहण अधिकतम होता है उस दिन की दिनाँक चन्द्रग्रहण के लिये दर्शायी जाती है। ऐसी स्थिति में चन्द्रग्रहण की उपच्छाया तथा प्रच्छाया का स्पर्श पिछले दिन अर्थात मध्यरात्रि से पहले हो सकता है।
इस पृष्ठ पर दिये चन्द्रोदय और चन्द्रास्त के समय लंबन/विस्थापनाभास के लिये संशोधित हैं। लंबन का संशोधन चन्द्रग्रहण देखने के लिये उत्तम समय देता है।
हिन्दु धर्म में चन्द्रग्रहण एक धार्मिक घटना है जिसका धार्मिक दृष्टि से विशेष महत्व है। जो चन्द्रग्रहण नग्न आँखों से स्पष्ट दृष्टिगत न हो तो उस चन्द्रग्रहण का धार्मिक महत्व नहीं होता है। मात्र उपच्छाया वाले चन्द्रग्रहण नग्न आँखों से दृष्टिगत नहीं होते हैं इसीलिये उनका पञ्चाङ्ग में समावेश नहीं होता है और कोई भी ग्रहण से सम्बन्धित कर्मकाण्ड नहीं किया जाता है। केवल प्रच्छाया वाले चन्द्रग्रहण, जो कि नग्न आँखों से दृष्टिगत होते हैं, धार्मिक कर्मकाण्डों के लिये विचारणीय होते हैं। सभी परम्परागत पञ्चाङ्ग केवल प्रच्छाया वाले चन्द्रग्रहण को ही सम्मिलित करते हैं।
यदि चन्द्रग्रहण आपके शहर में दर्शनीय नहीं हो परन्तु दूसरे देशों अथवा शहरों में दर्शनीय हो तो कोई भी ग्रहण से सम्बन्धित कर्मकाण्ड नहीं किया जाता है। लेकिन यदि मौसम की वजह से चन्द्रग्रहण दर्शनीय न हो तो ऐसी स्थिति में चन्द्रग्रहण के सूतक का अनुसरण किया जाता है और ग्रहण से सम्बन्धित सभी सावधानियों का पालन किया जाता है।